नौ साल में एक भी जेबीटी भर्ती नहीं, सरकार की भूमिका पर उठाए सवाल

नौ साल में एक भी जेबीटी भर्ती नहीं, भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने भर्ती घोटालों में सरकार की भूमिका पर उठाए सवाल
हरियाणा में नए स्कूल बनाना तो दूर बीजेपी-जेजेपी सरकार पहले से स्थापित स्कूलों में बिजली, पानी, यहां तक कि लड़कियों को टॉयलेट तक मुहैया नहीं करवा रही है। गठबंधन सरकार की शर्मसार करने वाली यह सच्चाई हाई कोर्ट में उजागर हुई है। ये कहना है पूर्व मुख्यमंत्री और नेता प्रतिपक्ष भूपेंद्र सिंह हुड्डा का। हुड्डा रोहतक में पत्रकारों के सवालों का जवाब दे रहे थे। आज उन्होंने यहां कई सामाजिक कार्यक्रमों में शिरकत की। इस मौके पर हुड्डा ने हाई कोर्ट द्वारा प्रदेश सरकार पर लगाए गए पांच लाख के जुर्माने की खबर पर प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा कि सत्ता में आने के बाद से भाजपा लगातार हरियाणा के शिक्षा तंत्र को नीतिगत तरीके से बर्बाद कर रही है। पहले तो बीजेपी ने टीचर्स की भर्तियां बंद की। इस सरकार ने नौ साल में अब तक एक भी जेबीटी की भर्ती नहीं निकाली।
उसके बाद सरकार ने अध्यापकों से पढ़ाई का काम छुड़वाकर उनकी मंडी व मेलों में व्यवस्था संभालने और परिवार पहचान पत्र बनाने में जैसे कामों में ड्यूटी लगाई गई। हुड्डा ने कहा कि मौजूदा सरकार ने सरकारी स्कूलों के बच्चों को प्राइवेट स्कूलों में भेजने के लिए नई-नई नीतियां लागू की। यहां तक कि प्राइवेट स्कूलों को सरकारी स्कूल गोद लेने के लिए प्रोत्साहित किया गया। उसके बाद मर्जर के नाम पर करीब 5000 स्कूलों को बंद कर दिया गया। अब हाई कोर्ट में दिए गए हलफनामे से पता चलता है कि ये बीजेपी-जेजेपी सरकारी स्कूलों में पढऩे वाले दलित, पिछड़े वर्गए गरीब व किसान वर्ग के बच्चों को हर एक सुविधा और शिक्षा से वंचित करना चाहती है। मुख्यमंत्री के इस काबूलनामे से कांग्रेस द्वारा लगाए गए भर्ती घोटालों के आरोप सही साबित हो रहे हैं।