Kangra:आज तक नहीं बन पाया रेहड़ी-फड़़ी बाजार

Kangra News: प्रवासियों ने जगह-जगह सजाया सामान, आज तक नहीं बन पाया रेहड़ी-फड़़ी बाजार
धर्मशाला। स्मार्ट सिटी धर्मशाला की सुंदरता पर प्रवासियों ने जगह-जगह दुकानें सजा कर ग्रहण लगा दिया है। नगर निगम के अधिकारी रोजाना इन लोगों से 50-50 रुपये तहबाजारी के रूप में वसूल कर रहे हैं, लेकिन कार्रवाई के नाम पर कुछ नहीं कर रहे हैं। पर्यटन नगरी में करीब 90 फीसदी प्रवासियों ने अपनी रेहड़ी-फड़ियां सड़कों के किनारे सजा रही हैं। वहीं, स्थानीय लोगों को कारोबार करने के लिए कोई सुविधा नगर निगम की ओर से नहीं दी जा रही है।
बता दें कि स्मार्ट सिटी का तमगा हासिल किए धर्मशाला को करीब सात साल का समय हो गया है, लेकिन आज दिन तक शहर में कोई भी स्मार्ट परियोजना शुरू नहीं हो पाई है। आज दिन तक स्थानीय लोगों के लिए स्मार्ट सिटी में एक भी स्थान पर रेहड़ी फड़ी बाजार (स्ट्रीट वेंडिंग जोन) नहीं बनाया गया। इस वजह से मजबूरन लोगों को सड़क किनारों पर अपनी रेहड़ियां लगानी पड़ रही हैं। जानकारी के अनुसार नगर निगम पिछले सात सालों से बैठकों में स्ट्रीट वेंडिंग जोन बनाने की बातें कर रहा है, लेकिन आज दिन स्ट्रीट वेंडिंग जोन केवल फाइलों तक ही सिमट के रह गए हैं। लोगों को इसकी कोई सुविधा नगर निगम और स्मार्ट सिटी प्रबंधन की ओर से नहीं दी जी रही है।
फिलहाल नगर निगम को यह नहीं पता है कि उनके अधिकार क्षेत्र में कितने रेहड़ी-फड़ी धारक हैं, जो कि प्रति दिन बढ़ते ही जा रहे हैं। स्ट्रीट वेंडिंग एक्ट के अनुसार नगर निगम क्षेत्र में रेहड़ी-फड़ी वालों का सर्वे किया जाना था, जो आज दिन तक अधूरा पड़ा है। वहीं, एक्ट के अनुसार हर वार्ड में आबादी के दो प्रतिशत लोगों के लिए ही रेहड़ी-फड़ी लगाने के लिए स्ट्रीट वेंडिंग जोन बनाए जाने हैं, लेकिन हर वार्ड में 200 से अधिक रेहड़ी-फड़ी वालों ने कब्जा कर रखा है। अगर बात करें मैक्लोडगंज और भागसूनाग की तो वहां पर ही 500 से अधिक प्रवासी सड़कों के किनारे कब्जा कर बैठे हैं।
नगर निगम क्षेत्र में जल्द ही स्ट्रीट वेंडर्स के लिए जोन बनाए जाएंगे और स्थानीय लोगों को सुविधा दी जाएगी। कोतवाली गांधी वाटिका के पास इस पर काम चल रहा है, जो जल्द ही तैयार हो जाएगा। – ओंकार नैहरिया, मेयर, नगर निगम धर्मशाला।