अधिक काम ने ली बेटी की जान, अंतिम संस्कार में कोई नहीं पहुंचा’, महिला के दावे पर कंपनी ने क्या कहा?
केरल की रहने वाली अन्ना सेबेस्टियन की मौत पर सोशल मीडिया पर खूब चर्चा हो रही है। 26 साल की अन्ना का निधन अधिक काम की वजह से हुआ है। यह दावा उनकी मां ने अपने एक पत्र में किया। अन्ना सेबेस्टियन ने पुणे स्थित एक बड़ी अकाउंटिंग कंपनी में इसी साल काम करना शुरू किया था। अब उनकी मौत पर कंपनी ने अपनी प्रतिक्रिया दी है।
HighLights
- इसी साल अन्ना सेबेस्टियन ने ज्वाइन की थी कंपनी।
- 4 महीने बाद 20 जुलाई को हुआ आकस्मिक निधन।
- मां के वायरल पत्र पर कंपनी ने दी अपनी प्रतिक्रिया।सोशल मीडिया पर बुधवार को एक महिला का लिखा पत्र खूब वायरल हुआ। यह पत्र महिला ने पुणे स्थित दिग्गज परामर्श फर्म Ernst & Young India के चेयरमैन राजीव मेमानी को लिखा था। महिला ने अपने पत्र में दावा किया था कि अधिक काम की वजह से उसकी 26 वर्षीय बेटी अन्ना सेबेस्टियन का निधन हो गया है। महिला ने कहा कि बेटी प्रतिष्ठित कंपनी में अपनी पहली नौकरी से बेहद खुश थी।
कंपनी ने कहा- आकस्मिक निधन से बहुत दुखी
इस बीच सोशल मीडिया पर आलोचना के बीच कंपनी ने महिला के पत्र पर अपनी प्रतिक्रिया दी। कंपनी ने अपने बयान में कहा, “जुलाई 2024 में अन्ना सेबेस्टियन के दुखद और असामयिक निधन से हम बहुत दुखी हैं। शोक संतप्त परिवार के साथ हमारी गहरी संवेदनाएं हैं। कार्यस्थल को स्वस्थ्य और बेहतर बनाने के तरीके खोजेंगे। परिवार को हर संभव मदद प्रदान कर रहे हैं। हालांकि इससे परिवार के अपूर्णीय क्षति की भरपाई नहीं होगी। परिवार के पत्राचार को गंभीरता व विनम्रता से ले रहे हैं।”
अंतिम संस्कार में कंपनी से कोई नहीं आया
मृतका की मां ने अपने पत्र में दावा किया था कि कंपनी ज्वाइन करने के चार महीने के बाद ही उनकी बेटी की अधिक काम के दबाव में मौत हो गई। कंपनी का कोई भी सदस्य अंतिम संस्कार में नहीं पहुंचा।
पहली नौकरी से बेहद खुश थी बेटी
बेटी की इस कंपनी में पहली नौकरी थी। वो बेहद खुश थी। मगर 20 जुलाई 2024 को उसकी मौत की खबर ने मुझे झकझोर कर रख दिया। अन्ना सेबेस्टियन ने पिछले साल चार्टर्ड अकाउंटेंसी (CA) की परीक्षा पास की थी। वहीं इसी साल 19 मार्च को पुणे स्थित Ernst & Young India कंपनी ज्वाइन की थी।
किसी और परिवार न सहना पड़े
महिला ने अपने पत्र में कंपनी में काम के माहौल को सुधारने पर जोर दिया। उसका कहना है कि मेरी बेटी की मौत एक चेतावनी होगी। किसी और परिवार को यह सहना न पड़े।